ढाई घंटे तक चारों ओर आग जलती रही; प्रतिमा को कुछ नहीं हुआ
मेवाड़ की शक्ति पीठ ईडाणा माता ने चैत्र नवरात्रि के पहले दिन मंगलवार को अग्नि स्नान किया। सुबह 10:20 बजे अचानक से प्रतिमा के चारों ओर आग की लपटें उठने लगीं। आधे घंटे तक तेज लपटों के साथ दर्शन हुए।करीब ढाई घंटे तक प्रतिमा के आस-पास आग जलती रही। आग से प्रतिमा को कोई नुकसान नहीं पहुंचा। दोपहर 12:30 बजे बाद जब आग शांत हुई तो माता का फिर श्रृंगार किया गया।
एक साल पहले चैत्र नवरात्रि में ही हुआ था अग्नि स्नान
उदयपुर से 60 किलोमीटर दूर सलंबूर जिले में ईडाणा माता का मंदिर है। मान्यता है कि ईडाणा माता अग्नि स्नान करती है। ईडाणा माता स्थित गायत्री धाम के आचार्य शैलेश त्रिवेदी ने बताया कि हिंदू नव वर्ष के दिन यह मौका मिला है। पिछले साल भी 24 मार्च 2023 को चैत्र महीने में ईडाणा माता ने अग्नि स्नान किया था।
त्रिवेदी बताते हैं कि अग्नि स्नान को लेकर कोई दिन और समय तय नहीं है। यह संयोग है कि इस बार हिंदू नव वर्ष के दिन माता ने अग्नि स्नान किया। इधर, जैसे ही आस-पास के लोगों को इसके बारे में वे पता चला तो दर्शन के लिए पहुंचे। इस दौरान मंदिर में भक्तों की भीड़ लग गई।
माता का श्रृंगार समेत सब जल गया
अग्नि स्नान में माता का श्रृंगार, चुनर और अन्य सामान जलकर राख हो गए। माता की प्रतिमा पर कोई प्रभाव नहीं पड़ा। इसके पीछे मान्यता है कि मेवल की महारानी के नाम से प्रसिद्ध ईडाणा माता समय-समय पर अग्नि स्नान करती रहती हैं। मेवल क्षेत्र में ईडाणा गांव सहित करीब 52 गांव आते हैं।
लकवा रोगी होते हैं ठीक
मां का दरबार एक खुले चौक में स्थित है। इसके चारों तरफ कमेटी के कार्यालय, धर्मशाला आदि बन गए हैं। मान्यता है कि लकवा से ग्रसित रोगी मां के दरबार में आकर ठीक हो जाते हैं। प्रतिमा के पीछे त्रिशूल लगे हैं,भक्त अपनी मन्नत पूरी करवाने के लिए यहां त्रिशूल चढ़ाते हैं। संतान की मन्नत रखने वाले भक्त यहां झूले चढ़ाते हैं।
2021 में दो बार किया था अग्नि स्नान
ईडाणा माता के अग्नि स्नान को लेकर कोई समय तय नहीं है। इससे पहले मां ईडाणा ने 9 मार्च 2021 की शाम को 4 बजे अग्नि स्नान किया था। इसके 5 दिन बाद 14 मार्च 2021 को भी अग्नि स्नान हुआ था। ये अग्नि स्नान एक साल बाद हुआ था। स्थानीय लोगों ने बताया कि 2020 में एक बार भी अग्नि स्नान नहीं हुआ था। 2019 में 2 बार अग्नि स्नान हुआ था। अब इस बार भी एक साल बाद ये स्नान हुआ है।