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बीजेपी की चुनाव आयोग से सीएस को हटाने की मांग


कहा- सरकार के पक्ष में कर सकती हैं पद का दुरुपयोग, चुनाव प्रक्रिया से दूर रखने की मांग

प्रदेश की मुख्य सचिव उषा शर्मा को राज्य सरकार से उपकृत होना बताकर बीजेपी ने उन्हें तुरंत कार्यमुक्त करने की मांग की हैं। इसे लेकर नेता प्रतिपक्ष राजेन्द्र राठौड़ के नेतृत्व में बीजेपी के प्रतिनिधिमंडल ने बुधवार को मुख्य निर्वाचन अधिकारी को ज्ञापन सौंपा।

नेता प्रतिपक्ष राजेन्द्र राठौड़ ने कहा कि चुनाव आयोग की ओर से समय समय पर जारी किए परिपत्रों में निर्देशित किया गया है कि जिन अधिकारियों का सेवाकाल बढ़ाया गया है, वो चुनाव संबंधित किसी भी कार्य से जुड़े नहीं रह सकते। मुख्य सचिव का कार्यकाल 6 महीने बढ़ाकर सरकार ने उन्हें उपकृत किया है।

मुख्य सचिव कर सकती हैं पद का दुरुपयोग
ज्ञापन में बीजेपी की ओर से कहा गया है कि राजस्थान में चुनाव के समय आचार संहिता की पालना में मुख्य सचिव की मुख्य भूमिका रहती है। चुनाव आयोग की ओर से जो स्क्रीनिंग कमेटी बनाई गई है, उसमें पूरा नियंत्रण चेयरमैन के तौर पर मुख्य सचिव के पास ही रखा गया है। इस कमेटी में विभिन्न विभागों के अधिकारी भी शामिल है।

उन्होंने कहा कि मुख्य सचिव उषा शर्मा सेवाकाल बढ़ाए जाने के कारण सरकार से उपकृत अधिकारी हैं। इसके कारण वर्तमान पद पर रहते हुए उनके द्वारा निष्पक्ष रूप से काम नहीं करने और उपकृत करने वाले राजनीतिक दल के पक्ष में अपने पद का दुरूपयोग किए जाने की संभावना है। इसके चलते तत्काल प्रभाव से उषा शर्मा को कार्यमुक्त किया जाए और आचार संहिता लागू होने के बाद उनके किए गए निर्णयों को भी शून्य घोषित किया जाए।

प्रियंका गांधी के मामले में भी दोहराई कार्रवाई की मांग
नेता प्रतिपक्ष राजेन्द्र राठौड़ ने कहा कि चुनाव आयोग के स्पष्ट निर्देश हैं कि चुनाव प्रचार के दौरान कोई भी नेता धार्मिक आधार पर देवी-देवताओं की पूजा-अर्चना पर टिप्पणी नहीं करेगा, लेकिन पिछले दिनों प्रियंका वाड्रा ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी पर जो टिप्पणी की थी, वह आचार संहिता का उल्लंघन थी।


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